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शेयर मार्केट टिप्स

शेयर मार्केट टिप्स
स्टॉकब्रोकर/ ब्रोकरेज: ब्रोकर ऐसा मध्यस्थ होता है जो इन्वेस्टर्स को शेयर खरीदने और बेचने में सहायता करता है और इसके लिए इन-रिटर्न शुल्क या कमीशन लेता है.

Share Market: विदेशी बाजारों में गिरावट, भारतीय शेयर मार्केट पर दिखेगा असर?

जानिये इंडियन स्टॉक मार्केट में इन्वेस्टमेंट के लिए ये हैं कुछ कारगर टिप्स

इंडियन शेयर मार्केट इन दिनों कई इन्वेस्टर्स के लिए इन्वेस्टमेंट का काफी आकर्षक साधन है जो इन्वेस्टर्स की धन-संपत्ति को कई गुना बढ़ा सकती है. लेकिन, इसके लिए आपको इंडियन स्टॉक मार्केट की अच्छी समझ और जानकारी जरुर होनी चाहिए.

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अगर हम यह कहें कि देश-दुनिया की इकॉनमी बहुत हद तक स्टॉक मार्केट से प्रभावित होती है तो इस स्टेटमेंट से देश-दुनिया के अधिकतर इकॉनोमिक एक्सपर्ट्स और स्कॉलर्स भी सहमत हो सकते हैं. आपके व्यक्तिगत धन की वृद्धि के लिए या फिर, विभिन्न छोटी-बड़ी कंपनियों द्वारा अपने कारोबार के लिए धन जुटाने के लिए स्टॉक मार्केट में इन्वेस्टमेंट करना महत्वपूर्ण और सुलभ तरीका है. वैसे तो इन दिनों, आपके लिए इन्वेस्टमेंट के अनेक ऑप्शन्स उपलब्ध हैं, और सूटेबल इन्वेस्टमेंट से पहले अपने मुताबिक इन इन्वेस्टमेंट ऑप्शन्स को परखना जरुरी है. आपके लिए हाई रिटर्न्स ऑफर करने वाला ऐसा ही एक ऑप्शन है शेयर बाजार/ स्टॉक मार्केट, जहां इन्वेस्टर्स हाई रिटर्न हासिल करने के लिए इन्वेस्टमेंट कर सकते हैं. इसलिए, हम आपके लिए इस आर्टिकल में इंडियन स्टॉक मार्केट में इन्वेस्टमेंट के लिए कुछ कारगर टिप्स प्रस्तुत कर रहे हैं. आइये आगे पढ़ें यह आर्टिकल:

इंडियन स्टॉक मार्केट के प्रमुख अंग

भारतीय शेयर बाजार/ इंडियन स्टॉक मार्केट एक वर्चुअल प्लेटफॉर्म है जहां कोई भी व्यक्ति शेयरों, बांडों और डेरिवेटिव में इन्वेस्टमेंट या कारोबार कर सकता है और यह कारोबार स्टॉक एक्सचेंजों के माध्यम से किया जाता है. भारतीय शेयर बाजार में कई ऐसे पक्ष भी शामिल हैं जो ऑनलाइन बिजनेस करते समय खरीदारों और विक्रेताओं की आवाजाही की निगरानी करते हैं: -

भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी): सेबी भारत का शीर्ष निकाय, नियामक और सभी भारतीय शेयर बाजारों का प्रहरी/ रक्षक या गार्ड है. यह ऐसे सभी नियमों और नियामक ढांचे निर्धारित करने के लिए जिम्मेदार है जो शेयरों को खरीदने और बेचने में सक्षम बनाता है.

स्टॉक एक्सचेंज: यह एक ऐसा प्लेटफॉर्म है जहां शेयर मार्केट टिप्स इन्वेस्टर्स द्वारा शेयरों का कारोबार किया जाता है. भारत में दो प्राथमिक स्टॉक एक्सचेंज - NSE और BSE हैं जहां शेयरों का कारोबार होता है और उनकी कीमतें सूचीबद्ध होती हैं.

इंडियन स्टॉक मार्किट सिस्टम

हमारे देश के शेयर बाजार में निम्नलिखित प्राथमिक बाजार और द्वितीयक बाजार शामिल हैं:

  1. प्राथमिक बाजार - शेयर बाजार में, जब कोई नई फर्म जनता से धन जुटाने के लिए पहली बार स्टॉक जारी करती है, तो वे एक आरंभिक सार्वजनिक पेशकश या IPOs जारी करती हैं. IPO का उद्देश्य व्यवसाय की बढ़ती आवश्यकता को पूरा करने के लिए जनता से धन जुटाना होता है. जब आप ऐसे शेयरों में इन्वेस्टमेंट करने का फैसला करते हैं, तो आप शेयरधारक बन जाते हैं और ऐसे शेयर प्राथमिक बाजार के दायरे में आते हैं. हालांकि, इन्वेस्टर्स के लिए यह जरुरी है कि वे कंपनी की महत्त्वपूर्ण फाइनेंशियल जानकारी जैसे वार्षिक रिपोर्ट, बैलेंस शीट, आय विवरण के साथ ही कंपनी द्वारा जारी किए गए रेड हायरिंग प्रॉस्पेक्टस को अच्छी तरह जरुर पढ़ें.
  1. द्वितीयक बाजार - यहां प्राथमिक बाजार में पहले ही जारी किए जा चुके शेयरों का कारोबार होता है.

गिरावट के साथ बंद हुआ शेयर बाजार, सेंसेक्स 420 अंक लुढ़का

नईदिल्ली।अमेरिकी शेयर बाजार में गिरावट का असर गुरुवार को घरेलू शेयर बाजार में भी दिखा। लगातार दूसरे दिन शेयर बाजार के दोनों सूचकांक लाल निशान पर बंद हुए। बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) का सेंसेक्स 419.85 अंक यानी 0.69 फीसदी लुढ़कर 60,613.70 के स्तर पर बंद हुआ। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (निफ्टी) भी 128.80 अंक यानी 0.71 फीसदी की गिरावट के साथ 18,028.20 के स्तर पर बंद हुआ।

कारोबार के दौरान सेंसेक्स के शेयरों में शामिल एक्सिस बैंक का शेयर 3.54 फीसदी शेयर मार्केट टिप्स की गिरावट के साथ सर्वाधिक नुकसान में रहा। इसी तरह बजाज फिनसर्व, टाइटन, महिंद्रा एंड महिंद्रा, बजाज फाइनेंस और इंडसइंड बैंक भी प्रमुख रूप से नुकसान में रहे। हालांकि, दूसरी ओर एचडीएफसी बैंक, एचडीएफसी लिमिटेड, भारती एयरटेल, कोटक बैंक, डॉ. रेड्डीज और एचयूएल 1.13 फीसदी तक लाभ में रहे। कारोबारियों के मुताबिक डॉलर के मुकाबले रुपये में गिरावट का असर भी घरेलू शेयर बाजार पर पड़ा है।

इंडियन स्टॉक मार्किट सिस्टम

हमारे देश के शेयर बाजार में निम्नलिखित प्राथमिक बाजार और द्वितीयक बाजार शामिल हैं:

  1. प्राथमिक बाजार - शेयर बाजार में, जब कोई नई फर्म जनता से धन जुटाने के लिए पहली बार स्टॉक जारी करती है, तो वे एक आरंभिक सार्वजनिक पेशकश या IPOs जारी करती हैं. IPO का उद्देश्य व्यवसाय की बढ़ती आवश्यकता को पूरा करने के लिए जनता से धन जुटाना होता है. जब आप ऐसे शेयरों में इन्वेस्टमेंट करने का फैसला करते हैं, तो आप शेयर मार्केट टिप्स शेयरधारक बन जाते हैं और ऐसे शेयर प्राथमिक बाजार के दायरे में आते हैं. हालांकि, इन्वेस्टर्स के लिए यह जरुरी है कि वे कंपनी की महत्त्वपूर्ण फाइनेंशियल जानकारी जैसे वार्षिक रिपोर्ट, बैलेंस शीट, आय विवरण के साथ ही कंपनी द्वारा जारी किए गए रेड हायरिंग प्रॉस्पेक्टस को अच्छी तरह जरुर शेयर मार्केट टिप्स शेयर मार्केट टिप्स पढ़ें.
  1. द्वितीयक बाजार - यहां प्राथमिक बाजार में पहले ही जारी किए जा चुके शेयरों का कारोबार होता है.

इंडियन स्टॉक मार्केट में इन्वेस्टमेंट का महत्त्व

स्टॉक मार्केट में इन्वेस्टमेंट करने के लिए प्रत्येक व्यक्ति या कंपनी को काफी सोच-समझकर और सही निर्णय लेना चाहिए क्योंकि इसमें शामिल जोखिम शेयर मार्केट टिप्स अधिक होता है. हालांकि, आपके लिए स्टॉक मार्केट में अपना पैसा इन्वेस्ट करने के कई अच्छे कारण भी हैं जैसेकि,

  1. बैंक FD की तुलना में यहां आपके इन्वेस्टमेंट पर अधिक रिटर्न मिलता है.
  2. स्टॉक मार्केट फाइनेंशियल नियंत्रण को सक्षम बनती है ताकि इन्वेस्टमेंट करने के लिए बचत को प्रोत्साहन मिल सके.
  3. जोखिम में विविधता लाकर आपके इन्वेस्टमेंट पोर्टफोलियो को बढ़ाना.

इंडियन स्टॉक मार्केट में इन्वेस्टमेंट के कारगर टिप्स

भारतीय शेयर बाजार/ इंडियन स्टॉक मार्केट में इन्वेस्टमेंट के लिए आप नीचे दिए गए सुझावों का ध्यान रख सकते हैं:

  1. एक अधिकृत ब्रोकर के पास जाएं, जिन्हें स्टॉक एक्सचेंज (NSE और BSE) पर कानूनी रूप से व्यापार करने की अनुमति है क्योंकि ऐसे ब्रोकर्स के पास ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों ट्रेडिंग के लिए एक मजबूत ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म उपलब्ध होता है.
  2. शेयर मार्केट टिप्स
  3. अधिकृत ब्रोकर के साथ अपना डीमैट अकाउंट खोलें. आपका डीमैट अकाउंट आपके नाम पर वित्तीय प्रतिभूतियां (शेयर, म्यूचुअल फंड) रखेगा.
  4. अपने डीमैट अकाउंट को अपने बैंक अकाउंट से लिंक करवाएं, ताकि आपके लिए वित्तीय लेनदेन सरल हो जाए.
  5. अपने ग्राहक को जानिए (KYC) दस्तावेज और सत्यापन करवाएं क्योंकि धोखाधड़ी के जोखिम से बचने के लिए स्टॉक मार्केट में ट्रेडिंग के लिए यह अनिवार्य है. इन दिनों वर्चुअल KYC सत्यापन भी किया जा सकता है.
  6. आप अपना डीमैट अकाउंट सक्रिय होने के बाद ही स्टॉक मार्केट में ट्रेडिंग शुरू करें.
  7. आप यह चुन सकते हैं कि, आप ऑफलाइन मोड (ब्रोकर के माध्यम से फोन पर) या फिर, ऑनलाइन (कम्प्यूटरीकृत/ वर्चुअल प्लेटफॉर्म के माध्यम शेयर मार्केट टिप्स से) ट्रेडिंग करें.

कभी-कभी गलत होने में कोई बुराई नहीं है

चूंकि स्टॉक ट्रेडिंग पासा फेकने की तरह है, इसलिए गलतियां करना काफी सामान्य है. और एक ट्रेडर सालों के अनुभव
और दर्जनों ट्रेड करने के बाद ही किसी भी परिस्थिति में शांत रहना सीख सकता है. यह सुनिश्चित करना महत्वपूर्ण है
कि आप अपना सारा ध्यान नुकसान पर केंद्रित नहीं कर रहे हैं. एक कदम आगे बढ़कर अपनी असफलताओं को स्वीकार
करके उनसे सीखना चाहिए. सालों की मेहनत और अपनी गलतियों से सीखने का हुनर ही ट्रेडर को मार्केट की गहरी
समझ प्रदान करता है, जो उन्हें चुनौतियों से उबरने और बेहतर योजना बनाने में मदद कर सकती है.

जैसा कि पहले बताया गया है, ट्रेडिंग कोई ऐसी चीज नहीं है जो स्वाभाविक रूप से आती है. किसी भी प्रतिस्पर्धी खेल की
तरह, इसके लिए भी बहुत मेहनत करने की जरूरत होती है. एक ट्रेडिंग प्लान एक ट्रेडिंग मैनुअल के रूप में काम करती
है और ये डायरेक्शन और एक सफल ट्रेडर बनने के लिए बहुत जरूरी है.

इम्प्रूवमेंट एक लाइफ लॉन्ग प्रोसेस है

एक कहावत है ‘प्रैक्टिस एक व्यक्ति को परफेक्ट बनाती है’. इस कहावत का बहुत इस्तेमाल किया जाता है. ट्रेडिंग स्किल
रातों रात नहीं पैदा हो सकती. यहां तक कि सबसे सफल ट्रेडर को भी कई बार भारी प्रॉफिट होता तो कई बार उसे
नुकसान शेयर मार्केट टिप्स का सामना भी करना पड़ता है. जरूरी बात यह है कि लगातार कोशिश करते रहें और अपने प्रदर्शन में सुधार
करके सफलता की संभावनाओं को बढ़ाएं. अपने आप से कंपटीशन करने और अपनी प्रोग्रेस पर नजर रखने से आपको
गलतियों से बचने और अपने ट्रेडिंग और निवेश परिणामों को बेहतर बनाने में मदद मिल सकती है. याद रखें कि एक
सफल स्टॉक ट्रेडर हमेशा मार्केट का स्टूडेंट होता है. मार्केट से सीखने पर ध्यान केंद्रित करें, रिसर्च के लिए समय निकालें,
शेयर मार्केट की जटिलताओं को समझें, क्योंकि यह एक लाइफ लॉन्ग प्रोसेस है.

ट्रेडिंग सरल है, लेकिन आसान नहीं है, और शेयर मार्केट में सफलता तुरंत नहीं मिलती. एक जानकार स्टॉक ट्रेडर होने
के नाते अपने इस सफर को रोमांचक बनाएं और अपना ध्यान इस सफर के दौरान मिलने वाले मीठे फलों पर केंद्रित करें.

विदेशी शेयर बाजारों का हाल

अक्‍टूबर के महंगाई दर के आंकड़ों में राहत दिखने के बाद अमेरिकी शेयर बाजार में तेजी देखी जा रही है. पिछले कारोबारी सत्र में अमेरिकी बाजार में जमकर खरीदारी हुई, जिससे प्रमुख शेयर बाजार में शामिल NASDAQ पर 1.45 फीसदी का उछाल दिखा.

यूरोप के शेयर बाजारों में भी मिलेजुले हालात दिख रहे हैं. जर्मनी का स्‍टॉक एक्‍सचेंज शेयर मार्केट टिप्स पिछले 0.47 फीसदी चढ़ा, लेकिन फ्रांस का शेयर बाजार 0.49 फीसदी और लंदन स्‍टॉक एक्‍सचेंज पिछले सत्र में 0.21 फीसदी गिरा.

एशिया के ज्‍यादातर शेयर बाजार लाल निशान पर खुले हैं. सिंगापुर स्‍टॉक एक्‍सचेंज 0.50 फीसदी, जापान का निक्‍केई 0.62 फीसदी, हांगकांग के शेयर बाजार में भी 0.95 फीसदी जबकि ताइवान के शेयर बाजार में 0.15 फीसदी की गिरावट दिख रही है.

(डिस्क्लेमर: यहां दिए गए किसी भी तरह के इन्वेस्टमेंट टिप्स या सलाह एक्सपर्ट्स और एनालिस्टस के खुद के हैं. और इसका क्विंट हिंदी से कोई लेना-देना नहीं है. कृपया शेयर मार्केट टिप्स कर किसी भी तरह के इन्वेस्टमेंट डिसिजन लेने से पहले अपने वित्तीय सलाहकार से परामर्श अवश्य ले.)

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